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फिरसे गिरी सोनेकी कीमत, 44 हजार रुपये प्रति तोलेके बेहद करीब पहुंची


नयी दिल्ली। आज सोने की कीमतों में करीब 217 रुपये की भारी गिरावट देखी गई है। अभी सोना ऑल टाइम हाई से 11 हजार रुपये से भी अधिक सस्ता है। अभी सोना 44,372 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर है। वहीं चांदी 66,598 रुपये प्रति किलो के स्तर पर है। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कमजोरी के रुख और रुपये के मूल्य में सुधार दर्ज होने के कारण दिल्ली के सर्राफा बाजार में गुरुवार को सोने का भाव 217 रुपये की गिरावट के साथ 44,372 रुपये प्रति 10 ग्राम  रह गया। पिछले कारोबारी सत्र में सोना 44,589 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था। वहीं दूसरी तरफ चांदी 1,217 रुपये गिरकर 66,598 रुपये प्रति किलो ग्राम पर पहुंच गई है. जो पिछले कारोबारी सत्र में 67,815 रुपये प्रति किलो ग्राम पर बंद हुई थी। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में कमजोरी के रुख के बीच दिल्ली सर्राफा बाजार में बुधवार को सोने का भाव 208 रुपये की गिरावट के साथ 44,768 रुपये प्रति 10 ग्राम पर आ गया। एचडीएफसी सिक्योरिटीज ने यह जानकारी दी है। पिछले कारोबारी सत्र में सोना 44,976 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था। चांदी 602 रुपये की तेजी के साथ 68,194 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुई। पिछले दिन इसका भाव 67,592 रुपये प्रति किलोग्राम पर बंद हुआ था। सोने की कीमत में ऑल टाइम हाई से करीब 11,500 रुपये तक की गिरावट आ चुकी है। 2020 में सोना 28 फीसदी तक चढ़ा था और अब 10 हजार रुपये तक गिर चुका है। सिर्फ इसी साल में सोने में करीब 5000 रुपये तक की गिरावट आई है। इतना ही नहीं, चांदी में भी 10 हजार रुपये तक की गिरावट देखने को मिली है। अगस्त में सोने ने 56,200 रुपये का ऑल टाइम हाई छुआ था और अब सोना 44,768 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर पहुंच चुका है। इस वक्त शेयर बाजार रेकॉर्ड बना रहा है, जबकि सोना काफी निचले स्तर पर है। ऐसे में लोग ये सोच रहे हैं कि कहां निवेश करें? सोने में या फिर शेयर बाजार में या फिर इन सबसे अलग फिक्स्ड डिपॉजिट करना सही रहेगा? शेयर बाजार अभी काफी ऊपर है, जिससे बबल भी माना जा रहा है तो इसमें निवेश करना काफी जोखिम भरा है। वहीं फिक्स्ड डिपॉजिट में काफी कम ब्याज मिल रहा है तो वहां भी निवेश करने पर रिटर्न अच्छा नहीं मिलेगा। वहीं अगर बात सोने की करें तो पिछले साल उसने 28 फीसदी का रिटर्न दिया है। उससे पिछले साल भी सोने का रिटर्न करीब 25 फीसदी रहा था। अगर आप लॉन्ग टर्म के लिए निवेश कर रहे हैं तो सोना अभी भी निवेश के लिए बेहद सुरक्षित और अच्छा विकल्प है, जिसमें शानदार रिटर्न मिलता है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने बजट प्रस्तावों में सोने और चांदी पर आयात शुल्क में भारी कटौती की घोषणा की थी। सीतारमण ने सोने और चांदी पर आयात शुल्क में 5 फीसदी की कटौती की है। फिलहाल सोने और चांदी पर 12.5 फीसदी आयात शुल्क चुकाना पड़ता है। इस तरह से अब सोने और चांदी पर सिर्फ 7.5 फीसदी इंपोर्ट ड्यूटी चुकानी होगी। इससे सोने और चांदी की कीमतों में कमी आएगी। वित्त मंत्री ने कहा कि जुलाई 2019 में सोने पर आयात शुल्क 10 फीसदी से बढ़ाकर 12.5 फीसदी किया गया था। इसके चलते सोने के दाम काफी बढ़े हैं। इसे देखते हुए सरकार सोने और चांदी पर सीमा शुल्क को तर्कसंगत बनाएगी। इस घोषणा के बाद सोने-चांदी की कीमतों में गिरावट आएगी। भारत बड़े पैमाने पर सोने का आयात करता है।