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ब्रिटेन से 100 वेंटिलेटर और 95 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की पहली खेप भारत पहुंची


  • ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने कहा, ”इस खतरनाक वायरस से जीवन को बचाने के लिए सैकड़ों ऑक्सीजन कंसंट्रेटर और वेंटिलेटर सहित ”महत्वपूर्ण चिकित्सकीय उपकरण अब ब्रिटेन भारत पहुंचने के रास्ते में हैं.” उन्होंने कहा कि ”ब्रिटेन भारत के साथ एक ”मित्र और साथी” के रूप में इस कठिन समय में खड़ा है.”

नई दिल्ली: कोविड-19 महामारी की विनाशकारी दूसरी लहर से निपटने के लिए ब्रिटेन से आयी वेंटिलेटर और ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की पहली खेप आज भारत पहुंच गयी. इसे सोमवार शाम को रवाना किया गया था. ब्रिटेन सरकार के सूत्रों ने बताया कि विदेशी राष्ट्रमंडल और विकास कार्यालय (एफसीडीओ) द्वारा भुगतान की गई आगामी खेप का प्रबंध इस सप्ताह के दौरान किया जा रहा है. इसमें 9 एयरलाइन कंटेनर लोड शामिल होंगे.

इसमें 495 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर, 120 नॉन-इंवेजिव वेंटिलेटर और 20 मैनुअल वेंटिलेटर शामिल हैं. सूत्रों ने कहा कि फिलहाल ध्यान तुरंत आवश्यक उपकरणों के निरंतर प्रवाह को तेज करने पर है. दीर्घकालिक अवधि में भारत में जरूरतों और आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए सरकारी विभागों, दोनों देशों के उच्चायोगों, ब्रिटेन में भारतीय मूल के समूहों के बीच चर्चा जारी है.

सप्ताहांत में एफसीडीओ ने घोषणा की थी कि भारत सरकार के साथ चर्चा के बाद कोविड-19 के खिलाफ भारत की लड़ाई में सहयोग करने के लिए 600 से अधिक महत्वपूर्ण चिकित्सकीय उपकरण भारत भेजे जाएंगे.

बोरिस जॉनसन बोले- ब्रिटेन मित्र और साथी की तरह भारत के साथ
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने कहा, ”इस खतरनाक वायरस से जीवन को बचाने के लिए सैकड़ों ऑक्सीजन कंसंट्रेटर और वेंटिलेटर सहित ”महत्वपूर्ण चिकित्सकीय उपकरण अब ब्रिटेन भारत पहुंचने के रास्ते में हैं.” उन्होंने कहा कि ”ब्रिटेन भारत के साथ एक ”मित्र और साथी” के रूप में इस कठिन समय में खड़ा है.”

ब्रिटेन के विदेश मंत्री डोमिनिक राब ने भारत को “बहुत महत्वपूर्ण भागीदार” बताया और सोमवार को विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ बातचीत की. जयशंकर ने फोन कॉल के बाद एक ट्विटर बयान में कहा, ”हमने कोविड चुनौती के विभिन्न पहलुओं को संबोधित करने के लिए हमारे सहयोग पर चर्चा की. साथ ही हमारे द्विपक्षीय एजेंडे में प्रगति की समीक्षा की.