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मेरी पार्टी का नाम और चुनाव चिन्ह छीन लिया, लेकिन ठाकरे नाम नहीं छीन सकते: उद्धव ठाकरे


मुंबई। भारत निर्वाचन आयोग द्वारा शिंदे गुट को शिवसेना नाम दिए जाने के बाद से महाराष्ट्र की राजनीति गरमाई हुई है। महाराष्ट्र में पार्टी के विधायक और नेताओं के साथ बैठक के बाद राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि मेरा सब कुछ छीन गया है।

 

‘मेरा सब कुछ छीन गया’

उद्धव ठाकरे ने कहा कि हमारी पार्टी का नाम और चुनाव चिन्ह छीन गया है लेकिन ठाकरे नाम छीन नहीं सकता। चुनाव आयोग के फैसले के खिलाफ हमने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है, कल से सुनवाई शुरू होगी। उल्लेखनीय है कि 20 फरवरी को उद्धव ठाकरे के गुट ने चुनाव आयोग के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है।

‘2024 का लोकसभा चुनाव देश का आखिरी चुनाव होगा’

उद्धव ठाकरे ने कहा कि महाराष्ट्र में मौजूदा स्थिति को अगर जल्द नहीं रोका गया तो 2024 का लोकसभा चुनाव देश का आखिरी चुनाव साबित हो सकता है क्योंकि इसके बाद यहां अराजकता शुरू हो जाएगी। ठाकरे ने आगे कहा कि मैंने चुनाव आयोग से गुहार लगाई थी कि सुप्रीम कोर्ट में निलंबित विधायकों का मामला है और जब तक फैसला नहीं आ जाता, अपना फैसला मत सुनाइए।

‘किसी को बाला साहेब के पुत्र के तौर पर सौभाग्य नहीं मिल सकता’

शिवसेना पार्टी और चुनाव चिन्ह गंवाने के बाद उद्धव ठाकरे ने भाजपा और सीएम एकनाथ शिंदे पर निशाना साधा और कहा कि अगर पार्टी का चिन्ह चोरी हो गया तो ठाकरे नाम चुराया नहीं जा सकता है। किसी को बाला साहेब के पुत्र के तौर पर सौभाग्य नहीं मिल सकता है।

उद्धव ने की बैठक

बता दें कि, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले गुट को शिवसेना नाम और धनुष बाण चुनाव चिह्न दिए जाने के बाद उद्धव ठाकरे ने अपने पार्टी नेताओं के साथ आगे की रणनिति तय करने के लिए सोमवार को बैठक की थी। इस बैठक में सांसद और करीबी सहयोगी भी शामिल हुए।