Post Views: 431 डा. भरत झुनझुनवाला आगामी बजटकी मुख्य चुनौती रोजगार बनाने एवं जमीनी स्तरपर बाजारमें मांग बनानेकी है जो एक दुष्कर कार्य है। फि र भी इस कार्य को किया जा सकता है यदि सरकार अपनी आय और खर्च दिशामें बदलाव करें। मेरे सुझाव इस प्रकार हैं। वर्तमान वर्ष अप्रैल २०२०से मार्च २०२१ कोविडके […]
Post Views: 732 डा. भरत झुनझुनवाला श्रमको रोजगार देनेकी मूल समस्याओंका वर्तमान लेबर कोडमें हल दिखता नहीं है। लेबर कोडमें कुछ प्रावधान श्रमिकोंके पक्षमें है जैसे अल्पकालीन श्रमिकोंको वे सभी सुविधाएं उपलब्ध करानेका प्रावधान किया गया है जो कि स्थायी श्रमिकोंको उपलब्ध हैं। दूसरी तरफ उद्योगोंको बंद करनेके लिए पूर्वमें सौ श्रमिकोंसे अधिकवाले कारखानोंको सरकारसे […]
Post Views: 502 अमिता सिंह जल, जंगल, जमीन है तो पारिस्थितिकी तंत्र मजबूत है। पारिस्थितिकी तंत्रकी बहाली जल, जंगल, जमीन तीनोंको संरक्षित करनेसे ही होगी। लोगोंको पर्यावरणकी सुरक्षाके प्रति जागरूक करने और सचेत करनेकी आवश्यकता है। इस बार विश्व पर्यावरण दिवस २०२१ का प्रसंग है पारिस्थितिकी तंत्रकी बहाली (इकोसिस्टम री-स्टोरेशन)। पारिस्थितिकी तंत्रकी बहाली कई रूपमें […]