Post Views: 272 श्रीराम शर्मा किसीकी यह धारणा सर्वथा मिथ्या है कि सुखका निवास किन्हीं पदार्थोंमें है। यदि ऐसा रहा होता तो वह सारे पदार्थ जिन्हें सुखदायक माना जाता है, सबको समान रूपसे सुखी और संतुष्ट रखते अथवा उन पदार्थोंके मिल जानेपर मनुष्य सहज ही सुख संपन्न हो जाता। संसारमें ऐसे लोगोंकी कमी नहीं है, […]
Post Views: 402 योगेश कुमार गोयल केन्द्र सरकारके मौजूदा कार्यकालका तीसरा बजट कोरोना महामारीके बीच देशका पहला आम बजट था, जो बतौर वित्तमंत्री निर्मला सीतारमणका तीसरा बजट था। कुल ३४८३२३६ करोड़ रुपयेके खर्चेका यह बजट ऐसे समयमें पेश किया गया, जब देशकी आजादीके बाद भारत पहली बार अधिकारिक तौरपर आर्थिक मंदीके दौरसे गुजर रहा है। […]
Post Views: 529 भारतके साथ ५९ हजार करोड़ रुपयेके राफेल विमान सौदेकी फ्रांसमें न्यायिक जांच शुरू किये जानेका औचित्य है अथवा नहीं है, यह एक अलग विषय है लेकिन इसे लेकर भारतमें सियासत और राजनीतिक दलोंके बीच आरोप-प्रत्यारोप तथा वाकयुद्धका निश्चित रूपसे कोई औचित्य नहीं है। साथ ही इस सियासतकी प्रासंगिकता भी नहीं है। फ्रांसमें […]