पटना

जदयू ने आरसीपी सिंह को सौंपी यूपी विस चुनाव में भाजपा से गठबंधन कराने की जिम्मेदारी


पटना (आससे)। जातीय जनगणना और विशेष राज्य दर्जा का मामला गर्माने के बाद जनता दल युनाइटेड और बीजेपी के संबंधों में एक बार फिर तल्खी बढ़ गई है। लेकिन इसके अलावा एक और मुद्दा ऐसा है जिस पर दोनों पार्टियों के रिश्ते खराब हो सकते हैं। वो है उतर प्रदेश विधानसभा चुनाव में जेडीयू और बीजेपी के बीच गठबंधन का मामला। अगर जेडीयू के साथ बीजेपी का चुनावी गठजोड़ नहीं होता है तो मामला और गर्मा सकता है। जेडीयू ने इस संबंध में बड़ा फैसला लेते हुए केंद्रीय मंत्री और पार्टी के नेता आर.सी.पी. सिंह को यूपी चुनाव में बीजेपी से गठबंधन को लेकर बात करने के लिए अधिकृत किया है।

दिल्ली में जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह और के।सी त्यागी ने महत्वपूर्ण बैठक कर यह निर्णय लिया है। बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हाल ही में दिल्ली दौरे पर थे। यहां उनकी मुलाकात ललन सिंह और आरसीपी सिंह से हुई थी, तभी इस मसले पर सहमति होने की खबर आई थी। मंगलवार को इस बात की घोषणा कर दी गई कि आरसीपी सिंह अब बीजेपी से यूपी विधानसभा चुनाव में गठबंधन के लिए अधिकृत तौर पर बात करेंगे।

दरअसल यह माना जाता है कि आरसीपी सिंह के संबंध बीजेपी के शीर्ष नेतृत्व से काफी अच्छा है। साथ ही यह भी समझा जाता है कि वो केंद्र में मंत्री भी बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं की वजह से ललन सिंह को दरकिनार कर बनाये गए थे। इन सब वजहों को देखते हुए जेडीयू की तरफ से उन्हें बीजेपी से बात करने के लिए अधिकृत किया गया है। अगर आरसीपी सिंह उतर प्रदेश में दोनों पार्टियों के बीच गठबंधन कराने में कामयाब रहते हैं तो जेडीयू में उनका कद और बढ़ जाएगा। साथ ही जेडीयू और बीजेपी के संबंध भी और मजबूत होंगे। लेकिन यदि ऐसा नहीं होता है तो जेडीयू उत्तर प्रदेश में अपने उम्मीदवार उतारेगी। स्पष्ट है कि इस स्थिति में बिहार में इन दोनों पार्टियों के संबंधों पर इसका असर होगा।

दरअसल जेडीयू लगातार इस प्रयास में है कि वो राष्ट्रीय पार्टी बने। अपने इस उद्देश्य को पूरा करने के लिए वो पांच राज्यों के आगामी विधानसभा चुनाव में अपनी किस्मत आजमाने की तैयारी में है। पार्टी को उम्मीद है कि यदि उतर प्रदेश में उसका बीजेपी के साथ गठबंधन हो जाता है तो कुछ सीटें जितने में अवश्य सफल हो सकती है। इससे उसे राष्ट्रीय पार्टी बनाने में मदद होगी।